सीबीआई ने छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के रायपुर और भिलाई स्थित आवासों पर छापेमारी की

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सीबीआई ने छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के रायपुर और भिलाई स्थित आवासों पर छापेमारी की

छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के आवास पर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा छापेमारी किए जाने के करीब एक महीने बाद केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने बुधवार को उनके रायपुर और भिलाई स्थित आवासों पर छापेमारी की।

 

छापेमारी के दौरान सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त

 

सूत्रों के अनुसार भूपेश बघेल के आवास के बाहर सीआरपीएफ के जवानों को तैनात किया गया है ताकि पथराव या भीड़ के एकत्र होने जैसी किसी भी घटना को रोका जा सके, जैसा कि ईडी अधिकारियों को अपने अभियान के दौरान सामना करना पड़ा था।

 

सीबीआई की कार्रवाई कथित तौर पर महादेव सट्टा ऐप घोटाला, कोयला घोटाला और शराब घोटाले सहित कई हाई-प्रोफाइल मामलों से जुड़ी हुई है। इसके अतिरिक्त सूत्रों के अनुसार तलाशी को पीएससी (लोक सेवा आयोग) घोटाले से भी जोड़ा जा रहा है।

 

भूपेश बघेल के कार्यालय की प्रतिक्रिया

 

सीबीआई की छापेमारी पर प्रतिक्रिया देते हुए भूपेश बघेल के कार्यालय ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर एक बयान जारी किया जिसमें कहा गया कि पूर्व मुख्यमंत्री को 8 और 9 अप्रैल को अहमदाबाद में होने वाले अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी (एआईसीसी) के सत्र से पहले इसकीड्राफ्टिंग कमेटीकी बैठक के लिए दिल्ली जाना था। हालांकि उनके रवाना होने से पहले ही सीबीआई के अधिकारी उनके रायपुर और भिलाई स्थित आवास पर पहुंच गए।

 

पोस्ट में कहा गयाअब सीबीआई गई है। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को 8 और 9 अप्रैल को अहमदाबाद (गुजरात) में होने वाली एआईसीसी की बैठक के लिए गठितड्राफ्टिंग कमेटीकी बैठक के लिए आज दिल्ली जाना था। उनके रवाना होने से पहले ही सीबीआई उनके रायपुर और भिलाई स्थित आवास पर पहुंच गई।

 

भूपेश बघेल के बेटे के खिलाफ ईडी की पिछली कार्रवाई

 

प्रवर्तन निदेशालय ने इससे पहले 10 मार्च को भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य बघेल के भिलाई स्थित आवास पर व्यापक छापेमारी की थी। ईडी की जांच मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े कथित शराब घोटाले से जुड़ी थी, जिसके बारे में एजेंसी का कहना है कि इससे राज्य के खजाने को "भारी नुकसान" हुआ। एजेंसी ने दावा किया कि छत्तीसगढ़ शराब घोटाले के परिणामस्वरूप 2,100 करोड़ रुपये से अधिक की अवैध कमाई हुई, जिससे एक सिंडिकेट को फायदा हुआ। ईडी के छापे में चैतन्य बघेल के आवास सहित लगभग 15 स्थान शामिल थे। ईडी के छापे के बाद विरोध और झड़प ईडी की कार्रवाई के बाद, कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने छापेमारी का कड़ा विरोध किया। भूपेश बघेल के आवास के बाहर विरोध प्रदर्शन शुरू हो गए, जिससे कांग्रेस समर्थकों और पुलिस कर्मियों के बीच झड़प हो गई।

रिपोर्ट बताती है कि दुर्ग में कांग्रेस नेता के आवास के बाहर ईडी अधिकारियों पर हमला किया गया और उनके साथ हाथापाई की गई। सीबीआई द्वारा अब अपनी जांच तेज करने के साथ, छत्तीसगढ़ में राजनीतिक परिदृश्य तनावपूर्ण बना हुआ है। आगामी AICC बैठक और बड़े राष्ट्रीय राजनीतिक परिदृश्य से पहले इस घटनाक्रम के महत्वपूर्ण राजनीतिक परिणाम होने की उम्मीद है।


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