हरियाणा और जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव संपन्न |
भारतीय चुनाव आयोग (ईसीआई) के अनुसार हरियाणा और जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव संपन्न हो चुके हैं और आधिकारिक परिणाम 8 अक्टूबर को घोषित किए जाएंगे। शनिवार को जारी किए गए कई एग्जिट पोल में हरियाणा में कांग्रेस को मजबूत बहुमत और जम्मू-कश्मीर में नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी) के साथ उसके गठबंधन को बढ़त मिलने की भविष्यवाणी की गई है।
हरियाणा
में दैनिक भास्कर के एग्जिट पोल
में बताया गया है कि 90 सदस्यीय
विधानसभा में कांग्रेस को 44 से 54 सीटें मिल सकती हैं जबकि भाजपा को 15 से 29 सीटें मिलने का अनुमान है।
सी-वोटर-इंडिया टुडे के सर्वेक्षण में
अनुमान लगाया गया है कि कांग्रेस
को 50 से 58 सीटें मिलेंगी, जबकि भाजपा को 20 से 28 सीटें मिलेंगी। रिपब्लिक भारत-मैट्रिज पोल ने कांग्रेस के
लिए और भी अधिक
सीटें आने का अनुमान लगाया
है, जिसमें भाजपा के 18 से 24 की तुलना में
55 से 62 सीटें मिलने का अनुमान है।
हरियाणा का
राजनीतिक परिदृश्य लोकसभा चुनावों के पहले महत्वपूर्ण परिवर्तनों से गुजरा है। मुख्यमंत्री
मनोहर लाल खट्टर ने अपने पद से इस्तीफा दिया और ओबीसी नेता नायब सिंह सैनी ने नए मुख्यमंत्री
के रूप में पदभार ग्रहण किया। इसके अलावा दुष्यंत चौटाला के नेतृत्व वाली जननायक जनता
पार्टी (JJP) ने भाजपा के साथ अपनी गठबंधन समाप्त कर दी जिससे राज्य की राजनीतिक गतिशीलता
में एक बड़ा बदलाव आया है।
जम्मू
और कश्मीर में 2019 में राज्य के दो केंद्र
शासित प्रदेशों-जम्मू और कश्मीर, और
लद्दाख- में विभाजन के बाद एक
दशक के लंबे अंतराल
के बाद चुनाव हुए। सी-वोटर-इंडिया
टुडे के अनुसार एनसी-कांग्रेस गठबंधन को 40 से 48 सीटें मिलने की उम्मीद है,
जबकि भाजपा को 90 सदस्यीय विधानसभा में 27 से 32 सीटें मिलने का अनुमान है।
दैनिक भास्कर ने एनसी-कांग्रेस
गठबंधन के लिए थोड़ी
कम सीटें मिलने का अनुमान लगाया
है जिसमें 35 से 40 सीटें मिलने का अनुमान है,
जबकि भाजपा संभवतः 20 से 25 सीटें जीत सकती है।
नतीजों
के आने में बस कुछ ही
दिन बचे हैं इसलिए सभी की निगाहें 8 अक्टूबर
को चुनाव आयोग की आधिकारिक घोषणा
पर टिकी हैं जो दोनों क्षेत्रों
में अगले राजनीतिक नेतृत्व का निर्धारण करेगी।